बिहार से हर साल लाखों विद्यार्थी ग्रेजुएट और पोस्ट ग्रेजुएट की पढ़ाई पूरी कर रहे हैं, लेकिन उनके लिए बिहार में रोजगार के कोई भी अच्छे विकल्प उपलब्ध नहीं हैं। बात करें अगर बिहार की राजधानी पटना की तो यहां एक भी आईटी कंपनी नहीं है, जो उन हजारों बच्चों को प्लेसमेंट दे सकें। जब राजधानी का यह हाल है तो हम बाकी जिलों से क्या उम्मीद कर सकते हैं। बिहार में नरेंद्र कुमार जी ने बेरोजगार युवाओं को रोजगार के साधनों से जोड़ने के लिए स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग सेंटर (Skill Development Training Centre) की शुरुआत की है।
इस स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग सेंटर में युवाओं तथा महिलाओं को रोजगार दिलाने के लिए ट्रेनिंग दी जायेगी। जिसके तहत उन्हें तकनीकी शिक्षा से लेकर सिलाई कढ़ाई जैसी गतिविधियों की भी ट्रेनिंग दी जायेगी। ट्रेनिंग की अवधि पूरी होने के बाद आत्मनिर्भर सेना युवाओं को उनके कौशल के अनुसार रोजगार दिलाने में सहायता करेगी। साथ ही प्रशिक्षण पूरा होने के बाद उन्हे सर्टिफिकेट भी दिया जाएगा।
नरेंद्र कुमार जी की संस्था आत्मनिर्भर सेना ने उत्तर बिहार के हर जिले में कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र (Skill Development Training Centre) खोलने का लक्ष्य रखा है। जिसकी शुरुआत उन्होंने अपने जन्म स्थान ओलीपुर संरचिया से कर दी है। सीतामढ़ी जिले के ओलीपुर संरचिया गांव में जिले का पहला कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र बनकर तैयार हो चूका है। इस कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र (Skill Development Training Centre) में युवाओं तथा महिलाओं को उनके कौशल के अनुसार प्रशिक्षण देकर उन्हें रोजगार मुहैया कराया जाएगा। इस कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र (Skill Development Training Centre in Bihar) में कंप्यूटर प्रशिक्षण से लेकर सिलाई कढ़ाई तक की ट्रेनिंग दी जायेगी। अभी यह प्रशिक्षण केंद्र केवल ओलीपुर संरचिया में शुरू किया गया है जल्द ही उत्तर बिहार के अधिकतर जिलों में इस योजना पर काम किया जाएगा।
नरेंद्र कुमार जी की संस्था आत्मनिर्भर सेना सीतामढ़ी जिले में पंचायत स्तर पर इस स्किल डेवलपमेंट सेंटर का प्रचार करेगी ताकि ज्यादा से ज्यादा युवाओं को इस स्किल डेवलपमेंट सेंटर की जानकारी हो और साथ ही उनमें इन कोर्स और इनसे जुड़े फायदों के बारे में जागरूक किया जा सकेगा। कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र (Skill Development Training Centre) में काम की शुरुआत की जा चुकी है जल्द ही आवेदन आमंत्रित किये जायँगे। इस Skill Development Training Centre में प्रशिक्षण के लिए लाभार्थियों को कोई फीस नहीं देनी होगी। आत्मनिर्भर सेना के कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र में विभिन्न कोर्स की अवधि 3 महीनें, 6 महीनें और 1 साल तक निर्धारित की गई है। कोर्स की अवधि पूरी होने पर युवाओं को सर्टिफिकेट भी प्रदान किये जाएंगे। इसके अलावा कोर्स सफलतापूर्वक पूरा करने के बाद लाभार्थियों को उनके कौशल के अनुसार रोजगार प्रदान करने में सहायता भी करेगी।
स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग सेंटर का मुख्य उद्देश्य युवाओं को रोजगार से जोड़ना है। इस कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र के माध्यम से हमारी संस्था आत्मनिर्भर सेना युवाओं को कौशल प्रशिक्षण देकर उन्हें रोजगार दिलाने का प्रयास करेगी साथ ही जो युवा स्वयं का कोई भी व्यवसाय स्थापित करना चाहते है उन्हें लघु उद्योग स्थापना से जुड़े सभी तथ्यों की जानकारी प्रदान करेगी। इसके अलावा हमारी संस्था युवा उद्यमियों को वित्तीय सहायता मुहैया कराने के लिए सरकार तथा NBFC केंद्रों के साथ मिलकर काम कर रही है।
महिलाएं केवल घर के कामों के लिए बनी है इस कथन को असत्य साबित करने के लिए आत्मनिर्भर सेना महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है। नरेंद्र कुमार जी की संस्था आत्मनिर्भर सेना ने स्मार्ट विलेज (Smart Village) मुहिम के तहत सीतामढ़ी जिले के ओलीपुर संरचिया गांव में 100 प्रतिशत महिलाओं को रोजगार से जोड़ने का लक्ष्य रखा है। जिसके तहत जिले में शिक्षित महिलाओं को उनके कौशल के अनुसार कंप्यूटर, टैली, एकाउंटिंग और फ्रीलांस लेखन जैसे प्रशिक्षण दिए जायँगे और अशिक्षित महिलाओं को उनके कौशल के अनुसार सिलाई, कढ़ाई और डिजाइनिंग जैसे प्रशिक्षण निःशुल्क प्रदान किये जायंगे। महिलाओ को इन कोर्स को करने के लिए किसी प्रकार का कोई शुल्क नहीं देना पड़ेगा। बिहार की 95 प्रतिशत महिलाओं के पास कोई रोजगार नहीं है। जो महिलाएं अपना कोई रोजगार करना भी चाहती है तो अवसरों की कमी के कारण वे ऐसा नहीं कर पाती।
आत्मनिर्भर सेना द्वारा शुरू किये गए इस कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र में युवाओं को तकनीकी शिक्षा से लेकर सिलाई कढ़ाई तक का प्रशिक्षण निःशुल्क प्रदान किया जाएगा। शिक्षित युवाओं तथा महिलाओं को Computer, Tally और accounting जैसे कोर्स की ट्रेनिंग दी जायेगी। कंप्यूटर की शिक्षा में युवाओं को बेसिक कंप्यूटर के साथ साथ Tally, graphic designing, Data Entry और Freelance writing की ट्रेनिंग दी जायेगी। कोर्स की अवधि पूरी होने के बाद छात्रों को सर्टिफिकेट प्रदान किये जायँगे। जिससे युवा किसी भी कंपनी में अच्छे पद पर नौकरी प्राप्त कर सकेंगे।
बिहार के लोग पलायन पर अधिक विश्वाश करते हैं। यहां की ज्यादातर आबादी स्वरोजगार स्थापित करने के बजाय दूसरे शहरों जाकर नौकरी करना पसंद करते हैं। बिहार के शिक्षित युवाओं को बिहार में रहकर स्वरोजगार स्थापित करना चाहिए जिससे ना केवल उनकी आर्थिक स्थिति बेहतर होगी बल्कि दूसरे लोगों को भी रोजगार मिल पायेगा। हालांकि सरकार ने बिहार में लघु उद्योग को बढ़ावा देने के लिए कई योजनाएं शुरू की हैं जिस कारण अधिकतर युवा अपना व्यवसाय स्थापित करने का विचार कर रहे हैं लेकिन सही जानकारी के आभाव में नहीं कर पाते। आत्मनिर्भर सेना संगठन द्वारा शुरू की गई इस स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग सेंटर (Skill Development training Centre) में युवा उद्यमियों को स्टार्टअप शुरू करने की ट्रेनिंग दी जायेगी। इस स्टार्टअप ट्रेनिंग कोर्स के माध्यम से आत्मनिर्भर सेना का उद्देश्य बिहार में नए स्टार्टअप्स को प्रोत्साहित करना है और युवाओं को स्वरोजगार स्थापना के लिए प्रेरित करना है।
आत्मनिर्भरसेना के संस्थापक नरेंद्र कुमार जी बिहार में लघु उद्योगों की स्थापना के लिए निरंतर काम कर रहे हैं। इस स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग सेंटर में युवाओं को लघु उद्योग स्थापना और संचालन की ट्रेनिंग दी जायेगी। इस ट्रैनिग के अंतर्गत युवाओ को लाइसेंसिंग, छोटे उद्योगों को कैसे संचालित करें, फंड कैसे मैनेज करें और साथ ही टैक्सेशन से संबंधित जानकारी प्रदान की जायेगी। लघु उद्योग स्थापना में खर्च होने वाली लागत के लिए नरेंद्र कुमार जी की संस्था NBFC केंद्रों के साथ मिलकर काम ब्याज दर पर युवाओ को लोन भी मुहैया कराती है।
आत्मनिर्भर सेना संस्था ने बिहार में हर गांव को स्मार्ट विलेज (Smart Village) बनाने का लक्ष्य रखा है। जिसके तहत जिले में रोजगार की सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी, युवाओं तथा महिलाओं को कौशल प्रशिक्षण देकर उन्हें रोजगार तथा व्यवसाय स्थापना जैसी गतिविधियों से जोड़ने का प्रयास किया जाएगा। आत्मनिर्भर सेना की पहल स्मार्ट विलेज (Smart Village) प्रोजेक्ट का उद्देश्य हर घर रोजगार मुहैया कराना है। सीतामढ़ी जिले में स्मार्ट विलेज प्रोजेक्ट की शुरुआत की गई है जिसके तहत जिले में पहला कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र की स्थापना की गई है। इसके अलावा आत्मनिर्भरसेना के स्मार्ट विलेज मुहिम के तहत जिले में 100 बेड का अस्पताल भी शुरू किया गया है। आत्मनिर्भर सेना और हिन्दराइज फाउंडेशन के संस्थापक नरेंद्र कुमार जी का मानना है की विकास अगर पंचायत स्तर से शुरू होंगे तभी एक गांव और एक राज्य का विकास संभव हो पायेगा।
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